बनभूलपुरा, जहां बीते 8 फरवरी को हिंसा हुई थी। उसके आसपास के क्षेत्र भी डेमोग्राफिक चेंज की कगार पर है। दरअसल, शनि बाजार क्षेत्र के पास सटे जोशी विहार कॉलोनी में रामपुर, पीलीभीत व स्वार के मुस्लिमों की जनसंख्या बढ़ती जा रही है जिसके कारण पिछले छह साल में करीब 60 हिंदू परिवार जोशी विहार कॉलोनी से पलायन कर चुके हैं। अब जोशी विहार कॉलोनी में आलम ये है कि वहां सिर्फ तीन हिंदू परिवार बचे हैं। इन तीनों परिवारों ने भी अपने मकानों का सौदा कर दिया है और अगले महीने तक जोशी विहार कॉलोनी से पलायन कर लेंगे।
जोशी विहार कॉलोनी के प्रवेश द्वार पर रजा गेट न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी लिखा है। बता दें कि ये गेट मुस्लिम समुदाय के लोगों का बसने के बाद बनाया गया है। कॉलोनी के अंदर करीब मुस्लिम समुदाय के 150 परिवार रहते है। तो वहीं करीब 60 हिंदू परिवार पिछले छह साल में इस कॉलोनी को छोड़कर जा चुके हैं।
जोशी विहार का इतिहास
साल 1954 में धनखोली निवासी रामदत्त जोशी व देवीदत्त जोशी दो भाई हल्द्वानी आए थे। दोनों भाइयों ने मिलकर गौजाजाली क्षेत्र के पास कई एकड़ जमीन खरीदी और एक कॉलोनी बसाई जिसका नाम उन्होंने जोशी विहार रखा। बाद में रामदत्त व देवीदत्त दोनों के पांच-पांच बेटे हुए। जब बच्चे बड़े हुए तो सारे अलग-अलग हो गए और जमीन के कई हिस्से हो गए। कुछ भाइयों ने जमीनों को बेच दिया। रामपुर से आए मलिक नाम के एक व्यक्ति ने सबसे पहले एक मकान खरीदा। बाद में मुस्लिम समुदाय के बसने की संख्या बढ़ती गई और अब यहां 150 मुस्लिम परिवार रह रहे हैं।
आखिर क्यु हिंदू कर रहे पलायन
इस कॉलोनी से पलायन के पीछे का दो मुख्य कारण लालच और मजबुरी है। कुछ लोगों ने ज्यादा पैसे मिलने पर अपनी जमीन बेच दी तो कुछ लोग गंदगी व मुस्लिम समुदाय के बढ़ने के कारण जमीन बेचकर पलायन कर गए।