लोकसभा चुनाव से पहले उत्तराखंड में बीजेपी की टेंशन कर्मचारियों ने बढ़ा दी है। दरअसल राज्य में पुरानी पेंशन बहाली की मांग कर रहे कर्मचारियों के बाद अब उपनल कर्मचारियों ने भी सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। उपनल कर्मचारी संगठन ने समान वेतन दिये जाने समेत कई मांगों को लेकर देहरादून में घंटाघर के बाजार में कैंडल मार्च निकाला। इस दौरान गुस्साए उपनल कर्मचारियों ने सरकार का पुतला भी फूंका। कैंडल मार्च परेड मैदान से शुरू होकर गांधी पार्क, घंटाघर होते हुए वापस धरना स्थल पहुंचकर पूरा हुआ।
इस दौरान उपनल कर्मचारियों ने देहरादून प्रशासन पर कई गंभीर आरोप लगाए है। उन्होंने कहा- कि देहरादून में उपनल कर्मचारियों के साथ मारपीट की गई है, जिससे पूरे प्रदेश के उपनल कर्मचारियों में आक्रोश बना हुआ है। इतना ही नहीं उपनल कर्मचारियों ने सरकार को चेतावनी भी दे डाली है। उन्होंने कहा है कि अगर सरकार ने उपनल कर्मचारियों की मांगों को नहीं माना तो वे धर्म परिवर्तन के साथ ही लोकसभा चुनाव का भी बहिष्कार करेंगें।
प्रदर्शन कर रहे उपनल कर्मचारियों ने बताया कि यह आंदोलन जारी रहेगा, चाहें कुछ भी हो जाए। वह किसी से नहीं डरने वाले है। बता दें कि 12 फरवरी से उपनल कर्मचारी हड़ताल पर हैं।
वे नियमितीकरण का हाईकोर्ट के आदेश को लागू करने, सरकार का सर्वोच्च न्यायालय में विशेष याचिका को वापस लिए जाने, जिन पदों पर नियमित नियुक्ति की जा रही है, उन पदों पर तैनात कार्मिकों को ना हटाए जाने की मांग कर रहे हैं।
बता दें कि लोकसभा चुनाव जैसे जैसे करीब आ रहा है वैसे वैसे सरकारी कर्मचारियों का आंदोलन भी बढ़ता जा रहा है। पहले आंगनबाडी कार्यकर्ताओं ने, फिर आशा वर्कर्स और अब उपनल कर्मचारियो ने आंदोलन की राह पकड़ी है। हालांकि भूकानून और स्थायी निवास प्रमाण पत्र को लेकर भी आंदोलन जोर पकड़ रहा है।