Uttarakhand Forest Fire : पौड़ी के जंगलों में एक बार फिर आग भड़क गई। आग की सूचना मिलते ही क्विक रिस्पांस टीम (QRT) ने मौके पर पहुंचकर मोर्चा संभाला। वहीं, तेज हवा के कारण आग ने पूरे वन क्षेत्र को अपनी चपेट में ले लिया है। हालात बिगड़ते देखकर अग्निशमन टीम को भी मौके पर बुला लिया गया है। वन विभाग और अग्निशमन की टीम आग पर काबू पाने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन आग ने पूरे क्षेत्र को अपने आगोश में ले लिया है।
उत्तराखंड के जंगलों में लगी आग ने भीषण रूप धारण कर लिया है। शुक्रवार को जंगलों की आग और भड़क गई थी। 24 घंटे के भीतर वनाग्नि की 64 घटनाएं सामने आई हैं। हालांकि प्रशासन आग को काबू करने की पूरी कोशिश कर रहा है। आग को बुझाने के लिए एनडीआरएफ की टीम भी लगी हुई है। सोमेश्वर के स्यूनराकोट के जंगल में लगी आग की चपेट में दो नेपाली परिवार आ गए थे। जंगल में लगी आग की चपेट में आने से एक श्रमिक की गुरुवार को मौके पर ही मौत हो गई थी।
दूसरे श्रमिक ने गुरुवार देर रात बेस अस्पताल में दम तोड़ा था। वहीं, महिला श्रमिक ने हल्द्वानी के सुशीला तिवारी अस्पताल (STH) में दम तोड़ दिया था। एक और महिला श्रमिक का हल्द्वानी में इलाज चल रहा है। प्रदेश में सामने आई वनाग्नि की 64 घटनाओं में गढ़वाल में 30, कुमाऊं में 29 और वन्यजीव क्षेत्रों में पांच घटनाएं शामिल हैं।
‘वनाग्नि हमारे लिए बहुत बड़ी चुनौती है’
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि वनाग्नि हमारे लिए बहुत बड़ी चुनौती है। इस वर्ष भी वनाग्नि को लेकर जितने भी हमारे वरिष्ठ अधिकारी हैं, उनकी जिम्मेदारी तय हो। उन्होंने कहा कि 10 मई को केदारनाथ धाम के कपाट खुल रहे हैं। तेजी से चार धाम यात्रा शुरू हो जाएगी, जिसके लिए भी तैयारियां की गई हैं। जो काम 10 तारीख तक समाप्त होने हैं, उसके लिए निर्देश दिए गए हैं। पेय जल की व्यवस्थाओं पर भी चर्चा की गई है। जरूरी दिशा-निर्देश दिए गए हैं। सड़कों की स्थिति ठीक हो, उसके लिए अलग-अलग अधिकारियों की जिम्मेदारियां तय की गई हैं।
आपदाओं की रोकथाम के लिए तैयारियां करने के निर्देश
सीएम धामी ने कहा कि हर साल जो आपदाएं हमें देखनी पड़ती हैं, उसकी तैयारियों के लिए भी कहा गया है। इस गर्मी के मौसम में बिजली की व्यवस्था बनी रहे, उस पर भी चर्चा की गई है। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में हम रेनवॉटर हार्वेस्टिंग और सूर्य घर योजना की शुरूआत अपने कार्यालय से कर रहे हैं। सौर ऊर्जा के लिए इस बार हमने बजट में अतिरिक्त रूप से 100 करोड़ की धनराशि का भी प्रावधान किया है।
सीएम के निर्देशों का होगा पालन
राज्य की मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने बताया कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की ओर से मिले निर्देशों का शत-प्रतिशत अनुपालन किया जाएगा। बता दें, बारिश से जंगलों की आग से कुछ राहत मिलने की उम्मीद है। प्रदेश के पांच पहाड़ी जिलों में आज बारिश के आसार हैं। मौसम विभाग ने उत्तरकाशी, रुद्रप्रयाग, चमोली, बागेश्वर और पिथौरागढ़ जिले में शनिवार को बारिश की संभावना जताई है।
उत्तराखंड का 70 प्रतिशत भाग वनों से आच्छादित
जंगलों में लगी आग पर डीजीपी अभिनव कुमार ने कहा कि उत्तराखंड का 70% भाग वनों से आच्छादित है। यह वन और वन्यजीव संरक्षण को न केवल वन विभाग के लिए, बल्कि पुलिस विभाग के लिए भी सर्वोच्च प्राथमिकता का विषय बनाता है।इसको लेकर बैठकें हो चुकी हैं।