Mahakumbh 2025 : उत्तर प्रदेश के पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने कहा कि अयोध्या की तर्ज पर प्रयागराज में बड़ी संख्या में पेइंग गेस्ट बनाने की तैयारी है। योजना से एक तरफ जहां पर्यटकों को उचित दर पर ठहरने के साथ-साथ भोजन की व्यवस्था उपलब्ध होगी, वहीं प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप में रोजगार सृजित होंगे। वह भवन स्वामी जिनके पास अतिरिक्त कमरे हैं योजना का लाभ ले सकते हैं। उन्होंने कहा कि होम-स्टे से श्रद्धालुओं एवं पर्यटकों को एक नया परिवेश मिलेगा। साथ ही प्रदेश की गौरवशाली संस्कृति को नजदीक से देखने और समझने का अवसर प्राप्त होगा।
यह जानकारी पर्यटन मंत्री ने देते हुए बताया कि प्रयागराज में छह माह बाद भव्य और दिव्य महाकुंभ के आयोजन की तैयारी चल रही हैं। इस बार 40 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं के आने के संभावना है। अयोध्या की तरह प्रयागराज में भी बड़ी संख्या में ठहराव स्थल की आवश्यकता होगी। इसी पूर्ति के लिए होटल आदि के साथ-साथ पेइंग गेस्ट पर अधिक फोकस किया जा रहा है। अयोध्या की तरह प्रयागराज में भी होम स्टे योजना भवन स्वामियों के लिए आय के बड़े अवसर के रूप सामने आई है, जिस किसी मकान मालिक के पास पर्यटकों को ठहराने के लिए अतिरिक्त कमरे उपलब्ध हैं। वह अच्छी-खासी कमाई कर सकता है, क्योंकि महाकुंभ में बड़ी संख्या में पर्यटक संगमनगरी आएंगे। इन्हें ठहरने के लिए बड़ी संख्या में कमरों की आवश्यकता होगी। भवन स्वामी का लाभ लेने के लिए क्षेत्रीय पर्यटन कार्यालय प्रयागराज में आवेदन कर सकते हैं।
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जयवीर सिंह ने बताया कि पेइंग गेस्ट योजना का उद्देश्य आवासीय सुविधाओं में वृद्धि के साथ ही ऐसे भवन स्वामियों जिनके पास पर्यटकों को रुकवाने हेतु अतिरिक्त कमरे उपलब्ध हों, उनको अतिरिक्त आय का साधन उपलब्ध कराना है। इससे स्वतः रोजगार को बढ़ावा मिलेगा। मकान मालिक कमरे उपलब्ध कराने के साथ ही पर्यटकों को नाश्ता, भोजन की सुविधा उपलब्ध करा सकेगा। कमरे का किराया एवं भोजन आदि के लिए आवश्यक निर्धारित धनराशि पर्यटकों से प्राप्त कर सकेगा। पेइंग गेस्ट के लिए विभिन्न मानक निर्धारित किए गए हैं।
पर्यटन मंत्री ने बताया कि पेइंग गेस्ट प्रदेश में महत्वपूर्ण ठहराव स्थल के रूप में सामने आए हैं। अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि मंदिर में रामलला के विराजमान होने के बाद वहां प्रतिदिन भक्तों की भाड़ी भीड़ आ रही है। बड़ी संख्या में लोग पेइंग गेस्ट में ठहरते हैं। यहां होटल की तुलना में कम किराया है और पारिवारिक माहौल है। भोजन और नाश्ता की सुविधा भी उपलब्ध है। इस समय अयोध्या में एक हजार से ज्यादा पेइंग गेस्ट हैं। भवन स्वामियों के लिए यह योजना रोजगार के रूप में वरदान साबित हुई है।