Ladakh Mount Kun : माउंट कुन पर ट्रैकिंग रूट खोलते समय सेना के हवलदार ठाकुर बहादुर आले मगर हिमस्खलन की चपेट में आ गए थे। लगभग 9 महीने बाद गुलमर्ग की टीमों ने हवलदार का शव बरामद कर लिया। देहरादून में बुधवार को हवलदार का उनकी यूनिट द्वारा पूरे सैन्य सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया। हवलदार ठाकुर बहादुर आले मगर 5वीं बटालियन फर्स्ट गोरखा राइफल्स का हिस्सा थे।
हवलदार ठाकुर बहादुर आले मगर 8 अक्टूबर 2023 को माउंट कुन के लिए एक पर्वतारोहण अभियान के दौरान चार-सदस्यीय रूट ओपनिंग पार्टी का हिस्सा थे। तभी वे एक अप्रत्याशित हिमस्खलन की चपेट में आ गए। कई दिनों तक लगातार खोज अभियान चलाया गया, लेकिन खराब मौसम और लगातार हिमस्खलन के कारण उनके पार्थिव शरीर को बरामद नहीं किया जा सका था। आखिरकार, 7 जुलाई 2024 को हवलदार ठाकुर बहादुर आले मगर और अन्य सैनिकों के पार्थिव शरीर को HAWS के खोजी दल द्वारा बरामद किया गया।
हवलदार ठाकुर बहादुर आले मगर एक बेहतरीन पर्वतारोही थे और उन्होंने राष्ट्रीय स्तर की स्कीइंग और स्नो बोर्डिंग प्रतियोगिताओं में भाग लिया था। इसमें उन्होंने 2 स्वर्ण पदक, 1 रजत पदक और 2 कांस्य पदक जीते थे। हवलदार ठाकुर बहादुर आले मगर के परिवार में उनकी पत्नी, 9 वर्षीय बेटी, 7 वर्षीय बेटा और बुजुर्ग माता-पिता हैं।
भारतीय सेना अपने सैनिकों और उनके परिवारों के प्रति अपनी प्रतिबद्धता में दृढ़ है। यह सुनिश्चित करती है कि कोई भी साथी पीछे न छूटे और अपने बहादुर योद्धाओं के बलिदान का सम्मान करती है।